लोकसभा चुनाव-2024 के तहत झारखंड में सोमवार को दूसरे चरण का मतदान हुआ। इस महापर्व में लोगों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। लेकिन, चतरा और हजारीबाग के दो बूथों पर लोगों ने मतदान का सामूहिक बहिष्कार किया।
लोकसभा चुनाव-2024 के तहत झारखंड में सोमवार को दूसरे चरण का मतदान हुआ। इस महापर्व में लोगों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। लेकिन, चतरा के एक और हजारीबाग के दो बूथों पर लोगों ने मतदान का सामूहिक बहिष्कार किया। चतरा संसदीय क्षेत्र के पांकी विधानसभा अंतर्गत गोगाड़ गांव के लोग मतदान केंद्र बदले जाने से नाराज थे, जबकि हजारीबाग संसदीय क्षेत्र के कुसुंभा गांव के लोगों ने रेलवे ओवर ब्रिज बनाने की मांग को लेकर वोटिंग नहीं की। प्रशासनिक अधिकारियों के समझाने-बुझाने से कोई असर नहीं हुआ। चतरा संसदीय क्षेत्र के गोगाड़ गांव के उत्क्रमित मवि में, बूथ संख्या-225 बनाया गया था।
इस बूथ में 643 मतदाता हैं। जिला प्रशासन ने सुरक्षा के दृष्टिकोण से इसे हुरलौंग स्थित राजकीय उत्क्रमित उर्दू मवि बूथ संख्या-223 में भेज दिया था। ग्रामीणों ने कहा कि उनमें लोकतंत्र के प्रति गहरी आस्था है। गांव के स्कूल में वर्ष 1990 से ही बूथ बनाया जा रहा है।
जब क्षेत्र में माओवादियों का वर्चस्व था, तब भी इसी स्कूल में वोटिंग हुई थी। गांव के चलितर सिंह (70) ने बताया कि 1995 के चुनाव में हुरलौंग बूथ के पास पुलिस और माओवादियों के बीच मुठभेड़ हुई थी, लेकिन गांववालों ने निडरता से मतदान किया और पोलिंग पार्टी को करीब छह किमी दूर मुख्य मार्ग तक सुरक्षित पहुंचाया। आज, जब स्थिति सामान्य है, तो प्रशासन ने इसे स्थानांतरित कर दिया है। इस बूथ पर सेविका, पारा शिक्षक समेत सिर्फ सात सरकारी कर्मियों ने ही मतदान किया है।
गांववालों ने मांगा है रेलवे ओवरब्रिज:
कटकमदाग प्रखंड के कुसुंभा गांव में दो बूथ नंबर-184 और 185 पर 1904 मतदाता हैं। यहां के लोग कहते हैं कि एनटीपीसी का कोयला बड़कागांव से बानादाग साइडिंग आता है और रोज़ हजारों हाइवा इस गांव से गुजरते हैं। रेलवे ट्रैक भी यहां से होकर गुजरता है, जिसे सिक्स लाइन बनाने की योजना है।
ग्रामीणों को सुविधा के लिए अंडर पास भी बनाया गया है। लेकिन, ग्रामीणों का मानना है कि यह सुरक्षित नहीं है और अंडर पास से हादसे का खतरा बना रहेगा। इसलिए उनकी मांग है कि यहां रेलवे ओवरब्रिज बनाया जाए।
इसी मांग को लेकर सोमवार को कोई भी गांव का निवासी मतदान नहीं किया। जब उन्हें वोट बहिष्कार की सूचना मिली, तो उपायुक्त नैंसी सहाय, एसपी अरविंद कुमार सिंह और अन्य अधिकारी मतदान केंद्र पहुंचे और लोगों को मनाने का प्रयास किया। लेकिन, सभी मतदाता अपने घरों को छोड़कर दूसरी जगह चले गए। इस संबंध में उपायुक्त ने बताया कि गांववालों की मांग की जानकारी एनटीपीस और रेलवे के अधिकारियों को भी दी गई है।
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