कोरबा मर्डर: छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में स्थित डैम से एक युवक की 17 टुकड़ों में कटी हुई बॉडी मिली है। शव को बैग और दो बोरे में भरकर डैम में फेंका गया था। पुलिस ने बॉडी को बरामद करके कटे हुए सिर के साथ 17 से ज्यादा हिस्सों में बांटा गया है। बॉडी के साथ एक पासपोर्ट भी मिला है, जिससे युवक के रांची जाने की संभावना है।
रांची। छत्तीसगढ़ में एक युवक की बेहद बर्बर हत्या हो गई है। उसके शव को 17 से ज्यादा टुकड़ों में काटकर बैग और दो बोरे में भरकर डैम में फेंक दिया गया। पहले उसके पैर और शरीर के कुछ हिस्से मिले हैं। पुलिस ने डैम से निकाला उसका सिर भी बरामद किया है।
छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में राष्ट्रीय राजमार्ग के पास स्थित डैम के निकट बुधवार दोपहर लगभग 12 बजे कुछ ग्रामीणों ने गंध सुनी और उन्होंने इसे पुलिस को बताया।
हत्या के बाद शव को बहुत सारे टुकड़ों में काटकर लाया गया था और यह आशंका है कि इसे राष्ट्रीय राजमार्ग के पास स्थित इस डैम में छुपाया गया।
छत्तीसगढ़ पुलिस ने शव के पास पासपोर्ट और आधार कार्ड पाए, जिसमें रांची के राजा कॉलोनी में रहने वाले वसीम का नाम था। पुलिस यह सोच रही है कि मृतक वसीम हो सकते हैं।
छत्तीसगढ़ पुलिस ने इस मामले में रांची पुलिस से संपर्क किया। इसके बाद लोअर बाजार थाना की पुलिस वसीम के घर पहुंची, लेकिन घर में मातम छा गया था और पुष्टि होने से पहले ही परिवार का हालचाल बहुत दुखद हो गया था।
पासपोर्ट के अनुसार, परिवार के सदस्य शव को वसीम का मान रहे हैं। उससे मिली जानकारी के अनुसार, वसीम अंसारी पिछले दो-ढाई साल से सऊदी अरब में सेफ्टी ऑफिसर के तौर पर काम कर रहे थे।
उसका एक भाई, मोहसिन, भी सऊदी अरब में हैं। इसके अलावा, उनका एक और भाई, तहसीन, कुछ साल पहले सऊदी से रांची वापस आ गया था। हालांकि, शव और पासपोर्ट में लगी तस्वीर में थोड़ा भिन्नता है।
वसीम के परिवार भी नहीं कर पा रहे हैं शव की पहचान
परिवार स्पष्ट नहीं कर पा रहा है कि बरामद शव वसीम का है या नहीं। लेकिन पासपोर्ट के आधार पर संदेह उठ रहा है।
पुलिस की पूछताछ से पता चला है कि वसीम ने सऊदी अरब के दम्माम से दिल्ली एयरपोर्ट आना था। वहां से रांची के घर जाने के बाद उन्होंने छत्तीसगढ़ कैसे पहुंचा, इस पर संदेह है।
बरामद शव का अभी तक स्पष्टीकरण नहीं हुआ है कि यह वसीम का है या नहीं। पासपोर्ट के आधार पर शव को वसीम का माना जा रहा है।
क्या पासपोर्ट से कोई गुमराही हो सकती है?
इस पूरे मामले में यह सवाल उठता है कि आरोपी ने मृतक की पहचान छिपाने के लिए शव को काटने के बाद उसके कपड़े और पासपोर्ट क्यों रखा।
घटना से यह स्पष्ट होता है कि हत्या के बाद शव को हथियार से कई हिस्सों में काटा गया है।
कहीं इसमें हड़बड़ी या गड़बड़ी का संकेत नहीं है, ऐसा भी माना जा सकता है। क्या यह सभी पुलिस को गुमराह करने की कोई षडयंत्र है? इन सभी सवालों के जवाब जांच और अनुसंधान से मिलेंगे।
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